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योगी कैबिनेट ने कई प्रस्तावों को दी मंजूरी, गरीबों को फ्री अनाज देने सहित ये हुए फैसले

लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार ने गुरुवार देर रात कैबिनेट बाई सर्कुलेशन के माध्यम से कई महत्वपूर्ण प्रस्तावों को मंजूरी प्रदान की. जिन प्रस्तावों को मंजूरी प्रदान की गई है उनमें ‘उत्तर प्रदेश मातृभूमि योजना’ के क्रियान्वयन को लेकर मंत्रिपरिषद ने इस योजना के क्रियान्वयन प्रस्ताव को अनुमोदित कर दिया है.

इसके होने से यदि कोई व्यक्ति, निजी संस्था किसी ग्राम पंचायत में विकास कार्य, अवस्थापना सुविधा का विकास व पंचायतीराज अधिनियम-1947 में प्रावधानित कार्यों को कराना चाहते हैं और कार्य की लागत की 60 प्रतिशत धनराशि वहन करने के इच्छुक हैं, तो शेष 40 प्रतिशत धनराशि की व्यवस्था राज्य सरकार द्वारा की जाएगी. निर्धारित आकार व प्रकार का शिलापट्ट/प्लेक सहयोग करने वाले व्यक्ति संस्था के प्रस्तावानुसार उस भवन अथवा अवस्थापना सुविधा के ऊपर यथोचित स्थान पर प्रदर्शित किया जाएगा.

उत्तर प्रदेश मातृभूमि योजना’ के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए ‘उत्तर प्रदेश मातृभूमि सोसाइटी’ का गठन किया जाएगा. इस सोसाइटी के अन्तर्गत गवर्निंग काउंसिल और सशक्त समिति बनाई जाएगी. गवर्निंग काउंसिल में मुख्यमंत्री अध्यक्ष एवं पंचायतीराज मंत्री उपाध्यक्ष होंगे. इसके अतिरिक्त, सम्बन्धित विभाग के अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव, सदस्य और अपर मुख्य सचिव, पंचायतीराज विभाग सदस्य सचिव होंगे.

प्रदेश के अन्त्योदय एवं पात्र गृहस्थी कार्डधारकों को आयोडाइज्ड नमक, दाल, साबुत चना, खाद्य तेल एवं खाद्यान्न के निशुल्क वितरण के सम्बन्ध में मंत्रिपरिषद ने प्रदेश के अन्त्योदय एवं पात्र गृहस्थी कार्डधारकों को आयोडाइज्ड नमक, दाल, साबुत चना, खाद्य तेल (यथा-सरसों तेल/रिफाइंड ऑयल) एवं खाद्यान्न के निशुल्क वितरण सम्बन्धी प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है.

सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम-2013 के अन्तर्गत आच्छादित अन्त्योदय एवं पात्र गृहस्थी कार्डधारकों को आयोडाइज्ड नमक (1 किग्रा प्रति कार्ड), दाल-साबुत-चना (1 किग्रा प्रति कार्ड), खाद्य तेल (यथा-सरसों तेल/रिफाइंड ऑयल 1 लीटर प्रति कार्ड) एवं खाद्यान्न का निशुल्क वितरण दिसम्बर 2021 से मार्च 2022 तक किया जाएगा. इस निर्णय से 1200.42 करोड़ रुपये प्रतिमाह के आधार पर कुल 4801.68 करोड़ रुपये का व्यय अनुमानित है.

उप्र अधिवक्ता कल्याण निधि अधिनियम-1974 में संशोधन के सम्बन्ध में

मंत्रिपरिषद ने संकल्प पत्र 2017 में की गई घोषणा के क्रियान्वयन के लिए उप्र अधिवक्ता कल्याण निधि न्यासी समिति में पंजीकृत अधिवक्ताओं को पंजीकरण से 30 वर्ष पूर्ण करने पर लगभग 5,848 अधिवक्ताओं को 1.50 लाख रुपये से 5 लाख रुपये एकमुश्त दिए जाने के लिए उप्र अधिवक्ता कल्याण निधि अधिनियम-1974 की धारा-13 में संशोधन के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है.

वर्ष 1970 में पूर्वी पाकिस्तान से हिन्दू बंगाली परिवारों की पुनर्वासन योजना स्वीकृत

मंत्रिपरिषद ने वर्ष 1970 में पूर्वी पाकिस्तान से विस्थापित 63 हिन्दू बंगाली परिवारों के लिए ग्राम भैंसाया, तहसील रसूलाबाद, जनपद कानपुर देहात में पुनर्वास विभाग के नाम उपलब्ध 121.41 हेक्टेयर भूमि पर प्रस्तावित पुनर्वासन योजना को स्वीकृति प्रदान कर दी है.

मंत्रिपरिषद द्वारा अनुमोदित योजना

  • कृषि कार्य के लिए प्रति परिवार भूमि आवंटन : 2 एकड़
  • आवास के लिए भूमि प्रति परिवार : 200 वर्ग मीटर
  • आवास निर्माण के लिए प्रति परिवार : 1.20 लाख रुपये

मुख्यमंत्री आवास योजना अंतर्गत

भूमि सुधार व सिंचाई सुविधा आवश्यतानुसार मनरेगा योजना के अन्तर्गत क्रियान्वित किया जाएगा. यह 2 एकड़ एवं 200 वर्ग मीटर भूमि 1 रुपए की लीज रेंट पर प्रथम 30 वर्ष के लिए पट्टे पर दी जाएगी. यह पट्टा अधिकतम दो बार 30-30 वर्ष के नवीनीकरण के साथ अधिकतम 90 वर्ष तक के लिए रिन्यु किया जाएगा.

उप्र आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय सैफई इटावा में 500 बेडेड सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल के निर्माण की परियोजना की पुनरीक्षित लागत को स्वीकृति दी गई है. इसके निर्माण कार्यों की पुनरीक्षित प्रायोजना के लिए 48988.61 लाख रुपये (04 अरब 89 करोड़ 88 लाख 61 हजार रुपये) के व्यय को अनुमोदित करते हुए सम्पूर्ण प्रायोजना को अनुमोदन प्रदान कर दिया है. पुनरीक्षित प्रायोजना में टेराकोटा क्लेडिंग, वुडेन फ्लोरिंग, ग्रेनाइट, विनायल फ्लोरिंग, वॉल पैनेलिंग, ग्लास पैस फिटिंग, जीआई मेटल सीलिंग, मिनरल फाइबर एकॉस्टिकल सीलिंग आदि उच्च विशिष्टियों के प्रयोग पर भी मंत्रिपरिषद द्वारा अनुमोदन प्रदान कर दिया गया है.

इस प्रायोजना की मूल लागत 33356.43 लाख रुपये थी. इस परियोजना का प्रथम पुनरीक्षण वर्ष 2016 में हुआ था, जिसमें इसकी लागत बढ़कर 46328.29 लाख रुपये हो गई. पुनः वर्ष 2018 में प्रायोजना की लागत 53726.45 लाख रुपये संशोधित की गई. संशोधित लागत काफी अधिक थी, जिसके क्रम में प्रायोजना को जनोपयोगी बनाए जाने के लिए 25 मार्च 2019 को एक समिति का गठन किया गया था.

भारत सरकार की योजना के अन्तर्गत किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय लखनऊ में नवस्थापित स्पोर्ट्स मेडिसिन विभाग के संचालन सम्बन्धी प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है. इस निर्णय के अनुसार भारत सरकार द्वारा प्रदान की गई सहायता के 5 वर्षों के बाद अर्थात 20 अक्टूबर,2022 से केजीएमयू, लखनऊ में नवस्थापित स्पोर्ट्स मेडिसिन विभाग का संचालन राज्य सरकार के बजट से किया जाएगा.

इस विभाग के संचालन के लिए भारत सरकार द्वारा अनुमन्य/सृजित 13 पदों को पूर्ववत जारी रखा जाएगा और उस पर होने वाले व्यय भार को राज्य सरकार के आय-व्ययक के सुसंगत मदों से वहन किया जाएगा. स्पोर्ट्स मेडिसिन में स्नातकोत्तर पाठ्यक्रम प्रारम्भ किए जाने के लिए नेशनल मेडिकल कमीशन नई दिल्ली के मानकों के अनुरूप पद सृजन किए जाने की कार्यवाही पृथक से नियमानुसार की जाएगी.

जनपद मेरठ के पुलिस प्रशिक्षण विद्यालय की क्षमता दोगुना किए जाने के लिए आवासीय भवनों के निर्माण कार्य की स्वीकृति के सम्बन्ध में मंत्रिपरिषद ने जनपद मेरठ के पुलिस प्रशिक्षण विद्यालय (पीटीएस) की क्षमता दोगुना किए जाने के लिए आवासीय भवनों के निर्माण कार्य की स्वीकृति सम्बन्धी प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान कर दी है. आवासीय भवनों के निर्माण कार्य के लिए 22359.33 लाख रुपये की लागत पर प्रशासकीय एवं वित्तीय स्वीकृति तथा इस सीमा तक विस्तृत आगणन डीपीआर के आधार पर पुनरीक्षित प्रशासकीय एवं वित्तीय स्वीकृति विभागीय मंत्री के रूप में मुख्यमंत्री के अनुमोदन से निर्गत किए जाने का प्रस्ताव अनुमोदित किया गया है.

जनपद अमेठी में पुलिस लाइन में आवासीय-अनावासीय भवनों के निर्माण कार्य के लिए स्वीकृति सम्बन्धी प्रस्ताव मंजूर किया गया है. इसके अनुसार जनपद अमेठी में पुलिस लाइन के निर्माण कार्य के लिए सम्पूर्ण प्रायोजना प्रस्ताव एवं प्रायोजना के आवासीय भवनों के निर्माण कार्य के लिए 11053 लाख रुपये एवं जनपद अमेठी में पुलिस लाइन के अनावासीय भवनों के निर्माण कार्य के लिए 11475.16 लाख रुपये कुल धनराशि 22528.16 लाख रुपये की लागत पर प्रशासकीय एवं वित्तीय स्वीकृति तथा इस सीमा तक पुनरीक्षित प्रशासकीय एवं वित्तीय स्वीकृति विभागीय मंत्री के रूप में मुख्यमंत्री के अनुमोदन से निर्गत किए जाने के प्रस्ताव को अनुमोदित कर दिया है.

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